पईन का अतिक्रमण कर सड़क बनवाने का आरोप, MLC ने कहा-आरोप निराधार, लोगो को संपर्क पथ उपलब्ध कराना उदेश्य

देव गोदाम के पास से सुदी बिगहा तक ऐच्छिक निधि से बन रहे सड़क का मामला

राजनीति गरमाई

औरंगाबाद(लाइव इंडिया न्यूज 18 ब्यूरो)। भाजपा नेता और विधान पार्षद राजन कुमार सिंह की ऐच्छिक निधि से देव में गोदाम के पास से सुदी बिगहा तक पईन से सटे बन रहे संपर्क पथ को लेकर स्थानीय राजनीति गर्म है। इस मामलें में जहां विधान पार्षद के पैतृक गांव सुदी बिगहा के लोग सड़क निर्माण के बहाने एमएलसी पर पईन का अतिक्रमण करने का आरोप लगा रहे है। वही एमएलसी ने साफ किया है कि पईन का अतिक्रमण नही हो रहा है, बल्कि आम लोगो खासकर सुदी बिगहा की दलित बस्ती के लोगों को सुगम आवागमन के लिए रास्ता उपलब्ध हो रहा है।

हालांकि स्थानीय स्तर पर पईन किनारे से सड़क निर्माण को लेकर राजनीति गरमाए रखने के लिए सुदी बिगहा के ग्रामीणों ने एक बैठक भी की है। गामीण सुनील सिंह की अध्यक्षता में संपन्न बैठक में राजा जगन्नाथ बांध से निकलने वाली पईन पर बनने वाली सड़क को लेकर एमएलसी के विरोध की रणनीति तय की गई। ग्रामीणों ने कहा कि पईन को एमएलसी भरवा कर उसका अतिक्रमण करा रहे है।

पईन का भरावट होने से सिर्फ राजन सिंह को फायदा है और सड़क बनने से एमएलसी के खेत तक सड़क पहुंच जायेगी और उनके जमीन की कीमत दुगुनी से अधिक हो जायेगी। कहा कि जिस पईन से ईलाके की सैकड़ो एकड़ जमीन पर लगी फसल लहलहाती है, उसे पूरी तरह मारने की साजिश रची गई है। पइन का भरावट होने से बांध सेे पानी की निकासी नहीं होगी तो इलाके के सैकड़ो एकड़ में लगी फसल पूरी तरह डूब जाएगी और इससे नुकसान किसानों का होगा। वही एमएलसी राजन कुमार सिंह ने कहा कि स्थानीय राजनीति के कारण ग्रामीणों को भरमाया जा रहा है और ग्रामीणों के बहाने उन पर लगाये जा रहे सारे आरोप बेबुनियाद है।

उन्होने कहा कि हर जन प्रतिनिधि का उदेश्य क्षेत्र का विकास करना होता है। इसी के तहत सड़क निर्माण का कार्य कराया जा रहा है। रही बात पईन का अतिक्रमण करने की तो यह पूरी तरह बेतुका है। कहा कि पईन की चैड़ाई करीब 85 फीट है और पूरे 85 फीट में पईन नही बहती है बल्कि इसके आधे से भी कम चैड़ाई में ही पईन बहती है जबकि 15 फीट की चैड़ाई में सड़क बन रही है। ऐसे में जब पानी का बहाव कही रुकेगा ही नही तो डूब क्षेत्र बनने का सवाल ही नही उठता। उन्होने कहा कि सड़क निर्माण को लेकर देव के अंचल अधिकारी ने अनापति भी जारी की है। इस स्थिति में जब शासन-प्रशासन को जब कोई आपति ही नही है तो राजनीतिक कारणों से ग्रामीणों के एक छोटे से समूह का कोई औचित्य नही है।