बिहार : सूचना का अधिकार के तहत मांगी गयी जानकारी के दो महीने बाद भी नहीं मिला जबाब।

औरंगाबाद (लाइव इंडिया न्यूज़ 18 )सूचना का अधिकार यानी राइट टू इन्फॉर्मेशन इन शब्दों को आपने पहले भी जरूर सुना या पढ़ा होगा. 2005 से लागू सूचना के अधिकार ने आम आदमी को इतनी ताकत दे दी कि वह भ्रष्ट सरकारी बाबुओं से लेकर भ्रष्ट अधिकारियों तक की नींद हराम कर दे. ‘सूचना का अधिकार’ लागू होने के बाद जनता पहले से ज्यादा जागरुक हो गई और RTI लोगों के बीच क्रांति का एक नया माध्यम बनकर उभरा.आरटीआई सिर्फ जानने का ही नहीं बल्कि सवाल करने का भी अधिकार है, इससे लोकतंत्र में भी विस्वास बढ़ेगा। .! खुद प्रधानमंत्री यह बात कह चुकें हैं लेकिन बिहार में आरटीआई लगाने के दो महीने बाद भी अभी तक कोई जबाब नहीं दिया गया है आरटीआई लगाने वाले ऑनलाइन न्यूज़ पोर्टल लाइव इंडिया न्यूज़ 18 के ब्युरो चीफ मनोज शर्मा ने बताया कि उन्होंने अक्तूबर 20 में बिहार के औरंगाबाद में स्थित श्री सीमेंट प्लांट के बारे में बिहार सरकार से आरटीआयी के माध्यम से जानकारी मांगी थी जिसका जबाब उनको सम्बंधित विभाग के द्वारा अभी तक नहीं प्राप्त हुआ उन्होंने प्रथम अपील भी किया लेकिन जबाब में उनका एप्लिकेशन यह कहकर वापस भेज दिया गया की आपका जबाब भेज दिया गया है लेकिन उनको अभी तक प्राप्त नहीं हुआ है

सेक्शन 19(1) के तहत अगर आप की RTI का जवाब 30 दिनों में नहीं आया है तो आप फर्स्ट अपील अधिकारी को फर्स्ट अपील कर सकते हैं. वैसे फर्स्ट अपील अधिकारी से अपील करने के बाद ही आपको सूचना मुहैया करा दी जाती है लेकिन इस मामले में ऐसा नहीं हुआ और अभी तक इंतजार कर रहें है उनका कहना है की अगर जबाब नहीं आया तो दूसरा अपील करेंगे।