निष्ठुर मां ने नवजात कन्या शिशु को आहर में फेका, सहृदय दंपत्ति ने छठी मैया का उपहार समझकर लिया गोद

रफीगंज(औरंगाबाद)(लाइव इंडिया न्यूज 18 ब्यूरो)। रफीगंज के ढोसिला कला गांव में गुरुवार की सुबह पश्चिमी आहर में फेंके एक जीवित नवजात कन्या शिशु बरामद किया गया है।

जिंदा नवजात शिशु को आहर में देखे जाने के बाद आसपास के ग्रामीणों की भीड़ इकट्ठी हो गई। नवजात शिशु को ढोसिला कला के रमुना मालाकार ने गोद ले लिया है। श्री मालाकार ने बताया कि गुरुवार की सुबह वे अपने परिवार को रफीगंज रेलवे स्टेशन छोड़ने गये थे। वापसी के दौरान जब वें गांव के आहर के पास पहुंचे तो वहां उन्हे काफी भीड़ जमा नजर आई। वहां देखा कि एक जीवित नवजात कन्या शिशु पड़ी है। उन्होने नवजात कन्या शिशु को गोद में उठाया और रफीगंज के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र लाकर इलाज कराया। अस्पताल के चिकित्सक डॉ. विनोद कुमार ने प्राथमिक उपचार करने के बाद बेहतर इलाज के लिए औरंगाबाद रेफर कर दिया।

चिकित्सक ने बताया कि शिशु की स्थिति सही है। प्राथमिक उपचार के बाद एनबीसीसी, औरंगाबाद भेज दिया गया है। गौरतलब है कि रमुना मालाकार को अपनी पत्नी गायत्री देवी से दो पुत्र है। इनमें एक 12 वर्ष का है जबकि दूसरा 8 वर्ष का हैं। परिवार में नवजात शिशु के आने से काफी खुशी है। मालाकार ने बताया कि उन्हे बेटी नही थी। अब इसकी कमी पूरी हो गई है और बेटी मिल गई है। अब वे एक बेटी के भी पिता बन गये और उनके दोनो बच्चों को बहन मिल गई है। कहा कि यह बेटी उन्हे आज चैती छ्ठ के दिन मिली है। इस कारण वे इसे छठी मईया का उपहार मान रहे है। नवजात कन्या शिशु को वे गोद लेने की सरकारी औपचारिकताओं को पूरी करने जा रहे है।