औरंगाबाद(लाइव इंडिया न्यूज 18 ब्यूरो)। भारत सरकार के नीति आयोग द्वारा संचालित आकांक्षी जिला कार्यक्रम के तहत औरंगाबाद जिले के विभिन्न प्रारंभिक एवं मध्य विद्यालय के शिक्षकों द्वारा नये शैक्षणिक सत्र के आरंभ में विद्यालय परिवार से जुड़ने के लिए नए छात्रों को चिन्हित कर उनके माता-पिता को उन्हें नजदीक के विद्यालय में नामांकन कराने के लिए प्रेरित किया जा रहा है।
वैसे सभी छात्र और छात्राएं जिन्होंने इस वर्ष अपनी कक्षा 5 और कक्षा आठवीं की पढ़ाई पूरी की है, उन्हें अपने नजदीक के विद्यालय में कक्षा 6 और कक्षा 9 में नामांकन के लिए प्रेरित किया जा रहा है। शिक्षा प्रक्षेत्र में सुधार करने के लिए नया नामांकन और ड्रॉपआउट को कम करने हेतु यह एक बहुत ही मददगार कदम साबित होगा। हर वर्ष की भांति इस साल भी विशेष नामांकन अभियान शिक्षा विभाग के निर्देश पर चलाने की योजना बनाई गई है। शिक्षा विभाग के नोडल पदाधिकारी सह वरीय उपसमाहर्ता आलोक कुमार ने बताया कि जिले में गुणवत्तापूर्ण शिक्षा एवं सभी बच्चों को विद्यालय से जोड़ने के लिए यह प्रारंभिक और महत्वपूर्ण कदम है। हमारा उद्देश्य है कि ज्यादा से ज्यादा बच्चों को हम लोग विद्यालय से जोड़ें ताकि वह शिक्षा ग्रहण कर पाए और इसका लाभ उठा पाएं।
आकांक्षी जिला कार्यक्रम के तकनीकी पार्टनर पीरामल फाउंडेशन के डिस्ट्रिक्ट प्रोग्राम लीडर, राकेश राय ने बताया कि नीति आयोग द्वारा निर्धारित डेल्टा रैंकिंग में ट्रांजिशन रेट को सुधारने के लिए सभी प्राथमिक विद्यालयों को उनके पोषक क्षेत्र के मिडिल स्कूल और सभी मिडिल स्कूल को उनके पोषक क्षेत्र के हाई स्कूल के साथ टैग करना सुनिश्चित किया गया है ताकि जितने भी संभावित पास-आउट विद्यार्थी हैं उनके इनरोलमेंट को नजदीक के विद्यालय से मिलान कर लिया जाए जिससे यह ज्ञात हो जाएगी की कितने बच्चे हैं जिन्होंने अपना नामांकन निर्धारित अगले वर्ग में करा लिया है व कितने बच्चे शेष रह गए हैं ताकि उन्हें चिन्हित करके उनका भी नामांकन सुनिश्चित किया जा सके। कार्यक्रम में शिक्षा विभाग द्वारा चिन्हित 35 मास्टर ट्रेनर अपने अपने निर्धारित ब्लॉक के डेमो स्कूल व अन्य स्कूल के शिक्षकों को प्रेरित कर रहे हैं ताकि 100 प्रतिशत ट्रांजिशन दर की प्राप्ति की जा सके।