फगुआ गायन बंद नहीं करने पर महादलितों की बेरहमी से पिटाई, घरों में भी आग लगाई, पुलिस पर बदसलूकी करने का आरोप          

औरंगाबाद(लाइव इंडिया न्यूज 18 ब्यूरो)। बारुण थाना क्षेत्र के पिपरा गणेश गांव में सोमवार को देर रात फगुआ गायन कर रहे महादलितो को गांव के ही दबंगो द्वारा बेरहमी से पिटाई किये जाने का मामला प्रकाश में आया है। इस मामले में पीडितो ने मंगलवार को औरंगाबाद आकर सदर एसडीपीओ गौतम शरण ओमी को पुलिस अधीक्षक को संबोधित एक आवेदन दिया है। आवेदन में महादलितों ने कहा है कि पिपरा गणेश गांव स्थित मंदिर में बीती रात ग्रामीण होली गा रहे थे। रात के करीब 9 बजे गांव के जयमंगल सिंह यादव, संजय सिंह, विनय सिंह, धनजय सिंह, अशोक सिंह, पारस सिंह, शम्मी कुमार  एवं मोहन कुमार ने आकर कहा कि हमारे रिश्तेदारी में मौत हो गई है।

आपलोग होली नहीं गा सकते हो। हमलोगों ने कहा कि गांव में नहीं बल्कि दूर के रिश्तेदारी में मृत्यु हुई है। हमलोग होली गाना बंद नहीं करेंगे। हमलोगो ने होली गाना जारी रखा। इसके कुछ देर के बाद ये सभी लोग पुनः झुंड बनाकर आये और अपशब्द तथा जातिसूचक शब्दों का इस्तेमाल करते हुए कहा कि होली गाना बंद करो। महिलाओं ने जब उनलोगों को अपशब्द बोलने से मना किया तो उनलोगों ने उन्हे भी अपशब्दों के साथ कहा कि अगर तुमलोगो ने होली गाना बंद नहीं किया तो जितने भी लोग है, सबके घर में आग लगा देंगे। हमलोगो ने उनकी बात नहीं मानी तो उनलोगों ने हमलोगों के घर की औरतो एवं मर्दों की बेरहमी से पिटाई की। महिलाओं के साथ अभद्र व्यवहार किया। इसके बाद उनलोगों ने बारुण थाना को फोन कर अपने स्वजातीय दारोगा प्रमोद यादव को बुलाया।

मौके पर आये दारोगा ने मंदिर में होली गा रहे सभी लोगों को मारना पीटना और अपशब्द कहना शुरू किया। जातिसूचक शब्दों का इस्तेमाल करते हुए कहा कि अगर यादव के गांव में रहना है तो जैसे हमारे जाति के लोग बोले वैसे ही रहो। तुमलोगों के पूर्वजों को भी गाने नहीं देते थे और तुमलोगों को भी नहीं गाने देगे। इसके बाद हमलोगों को घेर कर पीटा गया। कहा गया कि यहां का विधायक राजद का है। पीड़ितो ने कहा कि इसके बाद हमलोग बारुन थाना गए और थानाध्यक्ष को मामले की पूरे मामले की जानकारी दी लेकिन थानाध्यक्ष द्वारा मामले का संज्ञान नहीं लिया गया। इस बीच हमलोगों के घरो में आग लगा दिया गया।

हमलोगों के दरवाजा पर खड़े मोटर साइकिल वगैरह को क्षतिग्रस्त कर दिया गया। सभी घरों का नल जल योजना का नल एवं बिजली मीटर भी तोड़ दिया गया। पीड़ितो ने बताया कि घटना के बाद गांव के महिला-पुरूष डर से गांव छोड़कर भागे हुए है। इस मामले में पूछे जाने पर बारूण थानाध्यक्ष धनंजय शर्मा ने बताया कि पिपरा गणेश गांव में महादलितों ने बिना सरकारी अनुमति के जुलूस निकाला था। डीजे भी बजाया जा रहा था। इस दौरान जुलूस जब गांव के 73 वर्षीय जयमंगल सिंह के दरवाजे पर पहुंचा, तो वहां डीजे पर अश्लील गीत बजाया जाने लगा।

हृदय रोग से पीड़ित बुजुर्ग जयमंगल सिंह ने घर से बाहर आकर अपनी बीमारी और रिश्तेदारी में मौत का हवाला देते हुए डीजे बजाना बंद करने का आग्रह किया। इसे लेकर दोनो पक्षों में नोक झोक हुई लेकिन मामला शांत हो गया। इसके आधे घंटे बाद महादलितो ने समूह में वापस आकर जयमंगल सिंह के घर पर धावा बोल दिया। घर के बाहर खड़े ट्रैक्टर और बाइक को क्षतिगस्त कर दिया तथा पूरे परिवार की बेरहमी से पिटाई की। मामले की सूचना मिलने पर मौके पर पहुंची पुलिस के साथ भी महादलितों ने दुर्व्यवहार किया।

मामले में जयमंगल सिंह के बयान पर महादलितो के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गई है। प्राथमिकी में 24 लोगो को नामजद आरोपी बनाया गया है। पुलिस पूरे मामले की छानबीन कर रही है। उन्होने कहा कि महादलितो ने थाना आकर कोई शिकायत आवेदन नही दिया है और उनके द्वारा शिकायत आवेदन नही लेने और मारपीट करने का पुलिस पर लगाया गया आरोप पूरी तरह बेबुनियाद और निराधार है।

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