उधर उड़ता रहा ड्रोन, इधर होती रही वोटो की बरसात, पढ़िएं-पंचायत चुनाव के दसवें व अंतिम चरण में अति नक्सल प्रभावित देव-कुटुम्बा के बूथों से ग्राउंड रिपोर्ट

औरंगाबाद(लाइव इंडिया न्यूज 18 ब्यूरो)। बिहार त्रिस्तरीय पंचायत आम निर्वाचन-2021 के दसवें और अंतिम चरण में औरंगाबाद जिले के अति नक्सल प्रभावित देव और कुटुम्बा प्रखंड में बुधवार को हुए मतदान के दौरान तमाम तरह की आशंकाओं के विपरीत माओवादियों की एक नही चली। दोनों प्रखंड में सुबह के 7 बजे से लेकर दोपहर बाद 3 बजे तक मतदाताओं ने उत्साह के साथ मतदान में भाग लिया। मतदान की पूरी अवधि के दौरान हर बूथ पर सुरक्षा के चाक चौबंद प्रबंध दिखे। प्रबंध ऐसे कि चाहकर परिंदा भी पर नही मार सके।

मतदान को शांतिपूर्ण संपन्न कराने के लिए खासकर जंगली-पहाड़ी इलाके में नक्सलियों की मांद कहे जाने वाले क्षेत्र में ड्रोन उड़ाने का किया गया प्रबंध भी बेहद कारगर रहा। उधर जंगलों और पहाड़ों में नक्सलियों की टोह में ड्रोन उड़ता रहा। ड्रोन की पैनी नजरों में आने से बचने के लिए नक्सली अपनी मांद में ही छिपे रहे। इस कारण चाहकर भी वे मतदान की पूर्व संध्या से लेकर वोटिंग के दौरान तक कुछ भी नही कर सके।

नक्सलियों के इलाके में ऐसे हुआ पंचायत चुनाव का मतदान, देखे-वीडियो

इधर जंगली-पहाड़ी इलाके में देव प्रखंड के बनुआ, बरंडा-रामपुर, दुलारे, बेढ़नी, एरौरा पूर्वी केताकी पंचायतों में पहाड़ की तलहट्टी में स्थित गांवों-गोल्हा, तेंदुई, करमा, भलुआही, यदुपुर, ढ़ाबी, सटवट, कंचनपुर, ढ़िबरा, हैदरचक, बनुआ, खैरा, पाठक बिगहा, करमडीह, ढ़ाबी, पड़रियां, भटकुर एवं कुटुम्बा प्रखंड के परता, डुमरी तथा संडा आदि पंचायतों के दर्जनों गांवों के बूथों पर मतदाता वोटो की झमाझम बारिश करते रहे। मतदाता इधर वोटो की बारिश कर रहे थे।

उधर पहाड़ों की तलहट्टी में जगह-जगह सीआरपीएफ, कोबरा, एसएसबी एवं एसटीएफ के जवान हाथों में संगीन लिए मुस्तैद नजर आएं। साथ ही ये जवान बाइको से भी गश्ती करते नजर आए। सीपीएमएफ के जवानों की मुस्तैदी का ही यह असर रहा कि नक्सलियों द्वारा विध्वंसक गतिविधियों को अंजाम दिए जाने की आशंकाओं के विपरीत इन इलाकों में मतदान शांतिपूर्ण संपन्न हुआ।

चुनाव के दौरान पूर्वी केताकी पंचायत के पचौखर पर शासन-प्रशासन की बेहद पैनी नजर रही। वजह यह कि यह वही जगह है, जहां नक्सलियों ने 2010 के विधानसभा चुनाव में मतदान के दौरान एक बूथ के पास शक्तिशाली सिलेंडर बम लगाया था। बम लगाएं जाने के बाद उस वक्त पुलिस ने उसे खुले मैदान में सुरक्षित रखते हुए यह दावा किया था कि बम को डिफ्यूज कर दिया गया है लेकिन अगले ही दिन सुबह में वह बम विस्फोट कर गया था और पांच बच्चों की मौत हो गई थी।

उस वक्त पुलिस की भी काफी भद्द पिटी थी लेकिन इस बार के पंचायत चुनाव में यहां पूर्ण शांति रही और मतदाताओं ने दिल खोलकर मतदान के पर्व में शिरकत की।

इस बीच मतदान के पूर्णतः शांतिपूर्ण संपन्न होने पर हाेने पर चुनावकर्मियों ने राहत की सांस ली है। साथ ही शासन-प्रशासन द्वारा किए गये प्रबंधों की भी दिल से सराहना की है।