Tender final होते ही NSTPS में शुरू होगा Stage-2 पर काम, 4380 MW होने लगेगा Power Production, Dec 2026 तक FGD संयंत्र की स्थापना के साथ Plant पूरी तरह होगा Pollution free : सामंता

औरंगाबाद(बिहार)(लाइव इंडिया न्यूज 18 ब्यूरो)। देश की बिजली राजधानी के रूप में चर्चित हो रहा औरंगाबाद का नबीनगर शीघ्र ही विद्युत उत्पादन के मामले में बिहार ही नही बल्कि देश का भी गौरव बनेगा। यह गौरवपूर्ण पल तब आएगा जब यहां एनटीपीसी लिमिटेड की इकाई नबीनगर सुपर थर्मल पावर स्टेशन (NSTPS) में स्टेज-2 के तहत 800-800 मेगावाट की तीन ताप विद्युत उत्पादन इकाईयों की स्थापना का काम पूरा हो जाएगा। स्टेज-2 के निर्माण के बाद इस प्लांट की कुल विद्युत उत्पादन क्षमता 1980 से बढ़कर 4380 मेगावाट हो जाएगी। इस वजह से यह देश के प्रमुख पावर प्लांटों में से एक बन जाएगा।

          

स्टेज-2 के लिए निविदा की प्रक्रिया शुरू, टेंडर पूरा होते ही शुरू होगा काम

NSTPS के मुख्य महाप्रबंधक सह परियोजना प्रमुख चंदन कुमार सामंता ने शनिवार को प्रेसवार्ता में बताया कि एनटीपीसी, नबीनगर स्टेज-2 के निर्माण के बाद बिहार का पहला मेगा सुपर थर्मल पावर प्लांट होगा। इस स्थिति में यह  विद्युत उत्पादन के क्षेत्र में बिहार ही नही बल्कि देश का भी गौरव बनेगा।  कहा कि स्टेज-2 के निर्माण के लिए प्राथमिक प्रक्रिया के तहत ग्लोबल टेंडर हो चुका है। निविदा की प्रक्रिया अंतिम चरण में है। टेंडर फाईनल होने के बाद शीघ्र ही कार्य शुरू हो जाएगा। निर्माण कार्य शुरू होने के बाद स्टेज-2 की तीनों इकाइयों के शुरू होने में तीन साल का समय लगेगा। इस बार भेल, एल एंड टी आदि कम्पनियों ने टेंडर भरा है। अभी कंपनियों के टेंडर की स्क्रूटनी होनी है। स्टेज-2 का काम मिशन मोड में चलाया जा रहा है। उन्होंने कहा कि अभी स्टेज-1 के तहत 660 मेगावाट की तीन इकाइयां स्थापित हैं जिससे कुल 1980 मेगावाट बिजली का उत्पादन हो रहा है और स्टेज-2 की तीन इकाइयों के पूरी तरह स्थापित हो जाने के बाद यहां की कुल उत्पादन क्षमता बढ़कर 4380 मेगावाट हो जाएगी। इस प्रकार यह परियोजना बिहार का पहला मेगा सुपर थर्मल पावर प्रोजेक्ट हो जाएगा।     

 

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दिसंबर 2026 तक पूरा हो जाएगा FGD का काम- 

परियोजना प्रमुख ने कहा एनएसटीपीएस परियोजना में प्रदूषण का स्तर बेहद कम है। इसके बावजूद हम प्रदूषण को शून्य स्तर पर लाने का काम कर रहे है। इसके तहत परियोजना में एफजीडी(फ्लू गैस डिसल्फराइजेशन) संयंत्र की स्थापना का काम तेजी से चल रहा है और इसके दिसंबर-2026 तक पूरा हो जाने की पूरी संभावना है। एफजीडी संयंत्र की स्थापना के बाद यह पावर प्लांट पूरी तरह से प्रदूषण मुक्त प्लांट बन जाएगा। उन्होने बताया कि फ्लू गैस डिसल्फराइजेशन (FGD) एक प्रक्रिया है जिसका उपयोग वायु में सल्फर डाइऑक्साइड(एसओ₂) के उत्सर्जन को कम करने के लिए किया जाता है। इससे न केवल वायु प्रदूषण को कम करने में मदद मिलती है, बल्कि उत्पन्न अवशेषों का भी उपयोग किया जा सकता है, जैसे कि जिप्सम आदि। उन्होंने यह भी बताया कि प्लांट में एयर कूल्ड कंडेंसर के इस्तेमाल की तैयारी चल रही जिससे पानी की खपत को बहुत हद तक कम किया जा सकता है। कोयले से निकलने वाले फ्लाई ऐश के बारे में बताया कि बिजली निर्माण के दौरान प्लांट से निकले 70 प्रतिशत फ्लाई ऐश को उपयोगी बनाया जा रहा है जो अपने आप में बड़ी बात है।    

2023-24 में हुआ रिकॉर्ड 14411 मिलियन यूनिट बिजली उत्पादन– 

सामंता ने कहा कि एनएसटीपीएस विद्युत उत्पादन के मामले में लगातार उत्कृष्ट प्रदर्शन कर रहा है। 1980 मेगावाट विद्युत उत्पादन क्षमता वाला यह प्लांट बिहार में विद्युत आपूर्ति में अहम योगदान दे रहा है। परियोजना ने पिछले वित्तीय वर्ष-2023-24 में 14 हज़ार मिलियन यूनिट (14411 एमयू) से भी ज्यादा विद्युत उत्पादन कर अपनी संचालन की सफलता का शानदार प्रदर्शन किया है।  इसी वित्तीय वर्ष में परियोजना का प्लांट लोड फैक्टर(पीएलएफ) 82.86 प्रतिशत रहा, जो इसकी उत्कृष्टता को दर्शाता है।  कहा कि एनएसटीपीएस अब तक 8.4 बिलियन यूनिट्स बिजली उत्पादित कर देश को रौशन करने में सहायक साबित हुआ है। बिजली उपलब्धता के बारे में बताया कि NSTPS बिजली की विश्वसनीयता पर 95.4 प्रतिशत बार खरी उतरी है जो अपने आप में एक गौरवशाली और अद्वितीय आंकड़ा है।         

सस्ता बिजली उत्पादन कर रहा NSTPS-  

सामंता ने बताया कि इस प्रोजेक्ट से कोयला खदान के काफी नजदीक होने तथा अन्य संसाधनों के यहां सुलभ होने से नबीनगर थर्मल पावर प्रोजेक्ट में उत्पादित बिजली काफी सस्ती है और यहां उत्पादित बिजली का सर्वाधिक हिस्सा बिहार को मिल रहा है। यहां की सस्ती बिजली मिलने के कारण बिहार को काफी लाभ हो रहा है और आने वाले दिनों में बिहार को अन्य राज्यों से बिजली खरीदने की जरूरत नहीं पड़ेगी।           

ग्रामीण विकास में भी योगदान दे रही NTPC-  

कहा कि एनटीपीसी नबीनगर ग्रामीण विकास में भी तत्परता से अपना योगदान दे रहा है। पावर प्लांट द्वारा नैगमिक सामाजिक उत्तरदायित्व और सामुदायिक विकास कार्यक्रमों के माद्ययम से 40 से अधिक गांवो में विकास को गति दिया जा रहा है। शिक्षा, स्वास्थ्य, आधारभूत सुविधा और स्किल डेवलपमेंट के क्षेत्र में लगातार प्रयासों से हम ग्रामीण क्षेत्र में विकास की एक नई कहानी लिख रहे है। हमारे तत्पर प्रयासों से ग्रामीण इलाको में सकारात्मक बदलाव आ रहा है। हम परियोजना के आसपास के गांव के ग्रामीणों को अपना परिवार मानते है।                 

इस वजह से बिजली राजधानी के रूप में चर्चित हो रहा नबीनगर, N बिहार व देश का बन रहा गौरव- 

देश की बिजली राजधानी के रूप में चर्चित हो रहा नबीनगर का एनएसटीपीएस प्लांट यूं ही नही बिहार बल्कि देश का गौरव बनने जा रहा है। इसके पीछे खास वजह भी है। वजह यह है कि देश के किसी भी जिले में दो-दो बड़े पावर प्लांट स्थापित नही है। औरंगाबाद का नबीनगर ही देश का एकमात्र ऐसा जगह है, जहां दो बड़े पावर प्लांट स्थापित है और दोनों प्लांटों से कुल मिलाकर अभी 2980 मेगावाट बिजली का उत्पादन हो रहा है। इतनी बड़ी मात्रा में बिजली का उत्पादन देश के किसी भी एक जिले के विद्युत उत्पादन संयंत्रों से नही हो रहा है।  इन परियोजनाओं में सबसे बड़ी परियोजना नबीनगर सुपर थर्मल पावर प्लांट(एनएसटीपीएस) है। इस प्लांट से 1980 मेगावाट बिजली का उत्पादन हो है। साथ ही इसी परियोजना के स्टेज-2 के तहत 800-800 मेगावाट ताप विद्युत उत्पादन क्षमता वाली तीन नई ईकाइयों की स्थापना होने जा रही है। इस स्थिति में स्टेज-2 का काम पूरा होने के बाद अकेले इस परियोजना से कुल 4380 मेगावाट बिजली का उत्पादन होगा। वही नबीनगर में ही स्थापित भारतीय रेल और एनटीपीसी लिमिटेड के संयुक्त उपक्रम भारतीय रेल बिजली कंपनी लिमिटेड(बीआरबीसीएल) की एक हजार मेगावाट बिजली उत्पादन क्षमता वाली ताप विद्युत परियोजना स्थापित है। साथ ही यहां भी 22 मेगावाट बिजली उत्पादन क्षमता वाले सौर विद्युत उत्पादन संयंत्र की स्थापना की जानी है। इस लिहाज से वर्तमान में नबीनगर से अकेले 2980 मेगावाट बिजली उत्पादन हो रहा है जबकि एनटीपीसी नबीनगर में तीन नई इकाईयों और बीआरबीसीएल में 22 मेगावाट क्षमता वाले सौर विद्युत उत्पादन संयंत्र की स्थापना होने से नबीनगर की कुल विद्युत उत्पादन क्षमता 5402 मेगावाट हो, जाएगी जो अपने आप में एक रिकॉर्ड होगा। इसी वजह से नबीनगर को देश की बिजली राजधानी के अलंकरण से नवाजा जा रहा है और एनएसटीपीएस बिहार ही नही बल्कि देश का भी गौरव बनने जा रहा है।       *प्रेसवार्ता में ये भी रहे मौजूद*-प्रेसवार्ता में एनटीपीसी, नबीनगर के महाप्रबंधक(ओ एंड एम) केडी यादव, महाप्रबंधक(ऑपरेशन) एके त्रिपाठी सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी मौजूद रहे।

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