केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण की अध्यक्षता में नई दिल्ली में वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से GST परिषद की 48वीं बैठक आयोजित हुई। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बताया कि किसी भी वस्तु पर कोई टैक्स नहीं बढ़ाया गया है और न ही कोई नया कराधान लाया गया है। उन्होंने कहा कि जहां जीएसटी कर में व्याख्याओं की अस्पष्टता है उसका स्पष्टीकरण जारी किया गया है। बैठक के दौरान जीएसटी से जुड़ कई मामलों के गैरअपराधीकरण का फैसला लिया गया।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बताया कि जीएसटी काउंसिल की 48वीं बैठक में समय कम होने से परिषद में एजेंडा के 15 मदों से 8 बिंदुओं पर ही निर्णय लिया गया है। जिसमें आवश्यक मुद्दे तंबाकू और पान मसाला के व्यवसायों में कर चोरी रोकने और जीएसटी ट्रिब्यूनल जैसे अहम मुद्दों पर विचार नही किया गया।
जानिए GST काउंसिल की 48वीं बैठक में लिए गए बड़े फैसले
GST काउंसिल की 48वीं बैठक के दौरान कई अहम निर्णय लिए गए जिसमें GST परिषद ने एथिल एल्कोहल पर कर की दर 18% से घटाकर 5% करने का निर्णय लिया और दालों के छिल्कों पर कर की दर 5 प्रतिशत से घटाकर शून्य कर दी गई है। काउंसिल की बैठक में कुछ दरों और वर्गीकरण के मुद्दों को भी उठाया गया। इसके साथ ही GST परिषद कुछ अपराधों को अपराध की श्रेणी से बाहर करने पर सहमत हो गई है और जीएसटी कानूनों के तहत नकली चालान को छोड़कर किसी भी अपराध में अभियोजन शुरू करने के लिए कर राशि की सीमा को एक करोड़ रुपये से बढ़ाकर दोगुना यानि दो करोड़ कर दिया गया है।
GST काउंसिल में लिए गए निर्णय के बारे में वित्त राजस्व सचिव संजय मल्होत्रा ने कहा कि सूक्ष्म उद्यमों के लिए ई-कॉमर्स को सुगम बनाने के लिए एक बड़ा फैसला लिया गया। परिषद ने ई-कॉमर्स ऑपरेटरों को अपंजीकृत विक्रेताओं, डीलरों के साथ-साथ संयोजित करदाताओं के उत्पादों की आपूर्ति करने की अनुमति देने का निर्णय लिया है। आगे उन्होंने कहा कि ऑनलाइन गेमिंग और कैसिनो पर जीएसटी की चर्चा नहीं हुई क्योंकि मेघालय के मुख्यमंत्री कोनराड संगमा की अध्यक्षता वाले मंत्रियों के समूह ने इस मुद्दे पर कुछ दिन पहले ही अपनी रिपोर्ट सौंपी थी।
जानिए क्या है GST काउंसिल
GST काउंसिल, GST से संबंधित मुद्दों का समाधान करने वाली एक संवैधानिक निकाय है। यह केंद्र और राज्यों का एक संयुक्त मंच है।इसकी अध्यक्षता केंद्रीय वित्त मंत्री करते हैं। जीएसटी परिषद में सभी राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों का प्रतिनिधित्व किया जाता है।
GST क्या है
यह एक अप्रत्यक्ष कर है। जीएसटी को वस्तुओं और सेवाओं का इस्तेमाल करने से देना पड़ता है। पहले मौजूद तमाम टैक्स एक्साइज ड्यूटी, वैट, एंट्री टैक्स, सर्विस टैक्स आदि को हटाकर एक टैक्स जीएसटी लगाया जाता है। इसलिए इसे वन नेशन वन टैक्स अर्थात् एक देश में एक कर के नाम से जाना जाता है।
जीएसटी के तहत देश में वस्तुओं और सेवाओं पर पांच प्रकार की दरों 0%, 5%, 12%, 18% और,28% का कर लगाया जाता है।
GST को 101वां संविधान संशोधन अधिनियम 2016 के तहत संविधान के अनुच्छेद 279A(1) में जोड़ा गया है। भारत में जीएसटी को 1 जुलाई 2017 से लागू किया गया है।
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